काश हमारा तुम्हारा मिलन कुछ यूं हो जाए,
दिन रात के मिलने को जैसे संध्या हो जाए।
श्री राम की हम पर बस इतनी कृपा हो जाए,
तुम सरयू हो जाओ और हम अयोध्या हो जाएँ।
~अनुनाद/ आनन्द कनौजिया/२९.०७.२०२०

काश हमारा तुम्हारा मिलन कुछ यूं हो जाए,
दिन रात के मिलने को जैसे संध्या हो जाए।
श्री राम की हम पर बस इतनी कृपा हो जाए,
तुम सरयू हो जाओ और हम अयोध्या हो जाएँ।
~अनुनाद/ आनन्द कनौजिया/२९.०७.२०२०